यूएन में हिंदी के प्रचार-प्रसार के लिए भारत ने 1.16 मिलियन डॉलर का योगदान दिया
न्यूयॉर्क। भारत सरकार संयुक्त राष्ट्र (यूएन) में हिंदी के प्रयोग को बढ़ाने के लिए निरंतर प्रयास कर रही है। भारत ने संयुक्त राष्ट्र में हिंदी के उपयोग को बढ़ाने के लिए ‘हिंदी@यूएन’ परियोजना के लिए 1,169,746 अमेरिकी डॉलर का भारी योगदान दिया है।
न्यूयॉर्क स्थित संयुक्त राष्ट्र में भारत के स्थायी मिशन द्वारा गुरुवार को सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर अपने आधिकारिक अकाउंट से की गई एक पोस्ट में कहा गया भारत ने हिंदी@यूएन को बढ़ावा देने के लिए 1,169,746 डॉलर का योगदान दिया है। राजदूत आर. रविंद्र (सी.डी.ए. और डी.पी.आर.) ने हिंदी@यूएन परियोजना के लिए चेक सौंपा, जिसे भारत ने 2018 में दुनिया भर में हिंदी भाषी आबादी तक संयुक्त राष्ट्र की जानकारी पहुंचाने के लिए शुरू किया था।
भारत के स्थायी मिशन से मिली जानकारी के मुताबिक इन प्रयासों के तहत संयुक्त राष्ट्र के जन सूचना विभाग के सहयोग से 2018 में ‘हिंदी@यूएन’ परियोजना शुरू की गई थी। इसका उद्देश्य हिंदी भाषा में संयुक्त राष्ट्र की सार्वजनिक पहुंच को बढ़ाना और दुनिया भर में हिंदी भाषी लाखों लोगों के बीच वैश्विक मुद्दों के बारे में अधिक जागरूकता फैलाना है।
भारत 2018 से यूएन के वैश्विक संचार विभाग (डीजीसी) के साथ साझेदारी कर रहा है, जिसमें डीजीसी की समाचार और मल्टीमीडिया सामग्री को हिंदी भाषा में मुख्यधारा में लाने और समेकित करने के लिए अतिरिक्त बजटीय योगदान दिया जा रहा है।
वर्ष 2018 से संयुक्त राष्ट्र समाचार हिंदी में संयुक्त राष्ट्र की वेबसाइट और सोशल मीडिया हैंडल ट्विटर, इंस्टाग्राम और संयुक्त राष्ट्र फेसबुक हिंदी पेज के माध्यम से प्रसारित किए जाते हैं। इसके अलावा संयुक्त राष्ट्र समाचार, हिंदी ऑडियो बुलेटिन (संयुक्त राष्ट्र रेडियो) हर हफ्ते जारी किया जाता है।
मिशन ने आगे कहा कि इस पहल को जारी रखने के लिए राजदूत रविंद्र द्वारा यूएन के वैश्विक संचार विभाग के निदेशक और प्रभारी अधिकारी (समाचार एवं मीडिया प्रभाग) इयान फिलिप्स को 1,169,746 अमेरिकी डॉलर का चेक सौंपा गया।
(रिपोर्ट. शाश्वत तिवारी)